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बढ़ाई इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी मियाद, अब 31 मार्च 2024 तक जारी  (Electric vehicle policy period extended, now valid till March 31, 2024)

बढ़ाई इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी मियाद, अब 31 मार्च 2024 तक जारी (Electric vehicle policy period extended, now valid till March 31, 2024)

बढ़ाई इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी मियाद, अब 31 मार्च 2024 तक जारी  (Electric vehicle policy period extended, now valid till March 31, 2024)

दिल्ली सरकार ने इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) नीति की मियाद और तीन महीने बढ़ाने का फैसला किया है. जानकारी दी कि दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहन नीति की मियाद रविवार को समाप्त होने वाली थी लेकिन सरकार ने तीन महीने के लिए बढ़ाया है. नीति अगस्त 2020 में अधिसूचित की गई थी, जिसका लक्ष्य 2024 तक दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहनों की हिस्सेदारी को 25 प्रतिशत तक बढ़ाना है. 
The Delhi government has decided to extend the duration of the Electric Vehicle (EV) policy by another three months. It was informed that the validity of the electric vehicle policy in Delhi was to end on Sunday but the government has extended it for three months. The policy was notified in August 2020, which aims to increase the share of electric vehicles in Delhi to 25 percent by 2024.

 कहा कि अब इसे 31 मार्च 2024 तक बढ़ाया जाएगा और मंत्रिमंडल आवश्यक मंजूरी देगा. दिल्ली इलेक्ट्रिक वाहन नीति, 2020 इस साल आठ अगस्त को समाप्त थी और तब से इसे बार-बार बढ़ा रहा है. अधिकारियों मुताबिक, नई इलेक्ट्रिक वाहन नीति पर काम चल रहा है लेकिन कब लागू होगी तय नहीं है. 
Said that now it will be extended till March 31, 2024 and the Cabinet will give necessary approval. Delhi Electric Vehicle Policy, 2020 expired on August 8 this year and since then it has been extended repeatedly. According to officials, work is going on on the new electric vehicle policy but it is not decided when it will be implemented.

दिल्ली के परिवहन गहलोत ने बताया था कि 'इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0 में वाहनों की उच्च लागत को देखते हुए ‘रेट्रोफिटिंग’ को प्रोत्साहित किया जाएगा.' बता दें कि ईवी रेट्रोफिटिंग जरिए पुरानी या नॉर्मल इंटरनल कंबस्शन इंजन (आईसीई) कारों को इलेक्ट्रिक कार में बदलने के लिए इलेक्ट्रिक मोटर और बैटरी लगाती है. 
Delhi Transport Gehlot had said that 'In view of the high cost of vehicles, 'retrofitting' will be encouraged in the Electric Vehicle Policy 2.0.' Let us tell you that through retrofitting, EV uses electric motor and battery to convert old or normal internal combustion engine (ICE) cars into electric cars.

इसमें इंजन को हटाया जाता है और फिर उस जगह इलेक्ट्रिक मोटर जोड़ी जाता है, जो व्हील्स को पावर देती है. बैटरी और चार्ज के लिए चार्जिंग सिस्टम जोड़ा जाता है.
In this, the engine is removed and then an electric motor is added in that place, which provides power to the wheels. Charging system is added to charge the battery.

ईवी.दिल्ली.जीओवी.इन वेबसाइट के अनुसार, अगस्त 2020 से दिल्ली में 26,787 इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर, 31,506 इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर, 5,266 इलेक्ट्रिक कारें और 323 इलेक्ट्रिक बस की बिक्री है. यह डाटा 1 जनवरी 2024 को वेबसाइट के दिल्ली ईवी डैशबोर्ड पर है. वेबसाइट के अनुसार, दिल्ली 1919 चार्जिंग स्टेशन हैं और 2452 चार्जिंग प्वाइंट्स हैं.
According to the EV.Delhi.gov.in website, since August 2020, 26,787 electric two-wheelers, 31,506 electric three-wheelers, 5,266 electric cars and 323 electric buses have been sold in Delhi. This data is on the Delhi EV dashboard of the website as of January 1, 2024. According to the website, Delhi has 1919 charging stations and 2452 charging points.

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